BJP ने की अपने उम्मीदवारों की घोषणा

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दिल्ली में ‘ऑपरेशन मध्य प्रदेश’ की देख-रेख कर रहे भारतीय जनता पार्टी (BJP) नेताओं को पूरा भरोसा है कि राज्य में कांग्रेस की कमलनाथ सरकार अब चंद दिनों की मेहमान है. BJP के इन नेताओं का दावा है कि कांग्रेस के बागी विधायकों की संख्या 22 से बढ़कर जल्द ही 26 हो जाएगी. इस बीच, आत्मविश्वास से लबरेज़ BJP ने राज्य में राज्यसभा की दूसरी सीट के लिए भी अपना उम्मीदवार घोषित कर दिया है.

गौरतलब है, कुछ दिन पहले तक मध्य प्रदेश की तीन राज्यसभा सीटों में से दो कांग्रेस और एक BJP के खाते में जाना तय माना जा रहा था, लेकिन कांग्रेस में ज्योतिरादित्य सिंधिया खेमे की बग़ावत ने कांग्रेस के सारे समीकरण गड़बड़ा दिए हैं. गुरुवार को कांग्रेस की ओर से दिग्विजय सिंह ने पर्चा भरा है, जबकि  ज्योतिरादित्य सिंधिया और डॉ सुमेर सिंह सोलंकी को उम्मीदवार घोषित कर दिया है. BJP नेताओं का दावा है कि दोनों उम्मीदवारों को आसानी से जीत मिलेगी, जिसमें बागी विधायक बड़ी भूमिका निभा सकते हैं.

BJP नेताओं का यह भी कहना है कि कमलनाथ सरकार अब अल्पमत में आ चुकी है, इसलिए 16 मार्च से शुरू होने जा रहे विधानसभा सत्र में राज्यपाल के अभिभाषण अथवा बजट का कोई अर्थ नहीं बचा है. इनके मुताबिक, अब विधानसभा सत्र का एक ही एजेंडा होना चाहिए कि या कमलनाथ सरकार विश्वासमत हासिल करे या इस्तीफा दे.

BJP ने की अपने उम्मीदवारों की घोषणा

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दिल्ली में ‘ऑपरेशन मध्य प्रदेश’ की देख-रेख कर रहे भारतीय जनता पार्टी (BJP) नेताओं को पूरा भरोसा है कि राज्य में कांग्रेस की कमलनाथ सरकार अब चंद दिनों की मेहमान है. BJP के इन नेताओं का दावा है कि कांग्रेस के बागी विधायकों की संख्या 22 से बढ़कर जल्द ही 26 हो जाएगी. इस बीच, आत्मविश्वास से लबरेज़ BJP ने राज्य में राज्यसभा की दूसरी सीट के लिए भी अपना उम्मीदवार घोषित कर दिया है.

गौरतलब है, कुछ दिन पहले तक मध्य प्रदेश की तीन राज्यसभा सीटों में से दो कांग्रेस और एक BJP के खाते में जाना तय माना जा रहा था, लेकिन कांग्रेस में ज्योतिरादित्य सिंधिया खेमे की बग़ावत ने कांग्रेस के सारे समीकरण गड़बड़ा दिए हैं. गुरुवार को कांग्रेस की ओर से दिग्विजय सिंह ने पर्चा भरा है, जबकि  ज्योतिरादित्य सिंधिया और डॉ सुमेर सिंह सोलंकी को उम्मीदवार घोषित कर दिया है. BJP नेताओं का दावा है कि दोनों उम्मीदवारों को आसानी से जीत मिलेगी, जिसमें बागी विधायक बड़ी भूमिका निभा सकते हैं.

BJP नेताओं का यह भी कहना है कि कमलनाथ सरकार अब अल्पमत में आ चुकी है, इसलिए 16 मार्च से शुरू होने जा रहे विधानसभा सत्र में राज्यपाल के अभिभाषण अथवा बजट का कोई अर्थ नहीं बचा है. इनके मुताबिक, अब विधानसभा सत्र का एक ही एजेंडा होना चाहिए कि या कमलनाथ सरकार विश्वासमत हासिल करे या इस्तीफा दे.

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