धर्मनगरी अयोध्या का विकास करने में विफल योगी सरकार क्या करेगी सूबे का विकास-चन्द्रमणि पांडेय

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 धर्मनगरी आयोध्या को वैश्विक मानचित्र पर स्थापित करने के योगी मोदी सरकार के वादे को खोखला व हवा हवाई बताते हुए समाजसेवी चन्द्रमणि पाण्डेय(सुदामाजी)ने कहा कि योगी मोदी के विकास की सारी योजनाएं महज दिखावटी है है जमीनी स्तर पर इनके विकास के दावे पूर्णतः असत्य व बेबुनियाद हैं इनकी योजनाओ को इनके ही जनप्रतिनिधि व अधिकारी पलीता लगा रही हैं।आज शहर के श्यामप्रसाद मुखर्जी वार्ड के विकास की जमीनी हकीकत का पर्दाफाश करते हुए उन्होंने दिखाया कि किस तरह अयोध्या नगरपालिका के वार्डों में मूलभूत सुविधायें नदारद हैं न सडक न नाला न जल निकासी व साफ सफाई की व्यवस्था फलतः बिन बारिष गलियां जलमग्न व कीचड़युक्त हैं जबकि सांसद विधायक सहित पालिकाध्यक्ष भी भाजपा के ही हैं वार्ड के निवासियों ने बताया कि बिगत तीन साल में विकास के नाम पर कोई काम नहीं हुआ है जबकि हमारे मोहल्ले से महथ एक किलोमीटर की दूरी पर विधायक जी का आवस है हम लोग कई बार जिम्मदारों से मिलकर फरियाद कर चुके हैं मगर कोई सुनवाई नहीं हो रही है। फलतः बरसात में तो हमें कमर भर पानी में घुसकर आना जाना पडता है।

मोहल्ले में दुर्गन्ध इतना कि सांस लेना मुश्किल होता है समाजसेवी ने  सवाल खडा करते हुए कहा कि क्या योगी सरकार व उनके आधिकारी तथा जनप्रतिनिधि हाईवे पर सडक,पुल,पुलिया व मंदिरों की दीवारों को पेंट कर धर्मनगरी का विकास करेंगें जिन श्यामप्रसाद मुखर्जी को भाजपाई पूजते हैं उनके नाम से सृजित वार्ड की अगर ये दुर्दशा है तो शेष शहर व जनपद का क्या हाल होगा जिस अयोध्या के नाम पर सत्ता मिली उसके विकास में ये अनियमितता है तो सूबे का क्या विकास होगा कब तक जनता इनके खोखले वादों में रामराज्य का सपना संजोयेगी श्री पाण्डेय ने कहा कि जल्द ही हम इन समस्याओं कज निराकरण हेतु जिम्मदारों से मिलेंगें समस्या समाधान नहीं हुआ तो प्रभू राम की नगरी में व्याप्त इस अव्यवस्था के विरुद्ध व्यापक संघर्ष छेंडेंगें ग्यात हो कि इसके पूर्व भी श्री पाण्डेय रालोद प्रदेश सचिव रहते नयाघाट से रामजन्मभूमि तक फैली गन्दगी मंदिर के अव्यवस्थित तिरपाल व अन्य समस्याओं को लेकर 14जून 2018को मण्डलायुक्त कार्यालय पर आमरण अनशन पर बैठ चुके हैं जिसके बाद नगर आयुक्त ने साफ सफाई के साथ साथ अन्य व्यवस्था में सुधार के आश्वासन के सार अनशन समाप्त कराते हुए व्यवस्था में सुधार कराया था।

रिपोर्ट-अनीस अहमद

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